गठिया रोग को जड़ से खत्म करने का इलाज: Arthritis in hindi treatment
इस आर्टिकल में हम बात करने वाले हैं गठिया को जड़ से खत्म करने के उपाय व इलाज- Arthritis treatment in hindi गठिया की बीमारी तब शुरू होती है जब हमारे शरीर में सामान्य से अधिक यूरिक एसिड बनना शुरू हो जाता है गठिया की बीमारी आपको सबसे पहले पैरों में देखने को मिलता है। जो पैरों के जोड़ों से शुरुआत होता है इसमें काफी दर्द सहना पड़ता हैं। यदि शुरुआती दौर में ध्यान न दिया जाय तो कुछ समय पश्चात दूसरे जोड़ों तक पहुंच जाता है जो बढ़ते हुए कोहनी, घुटने, हाथ की अंगुलियों तक बढ़ जाता है।
गठिया रोग क्या होता है?
गठिया या अर्थराइटिस रोग को आयुर्वेद में वातरक्त के नाम से पुकारा जाता है। यह रोग अनुचित आहार का सेवन करने के उपरांत रक्त दूषित हो जाता है और वात मार्ग में रुकावट डालता है जिसके कारण शरीर में जलन पीड़ा लालिमा तथा अन्य लक्षण दिखाई देने लगते हैं। गठिया रोग कम उम्र में होने का चांस ना के बराबर होता है।
यह ज्यादातर 30 से 40 उम्र के बाद वाले लोगों में अपना असर दिखाता है। पुरुषों की अपेक्षा महिलाओं में यह बीमारी ज्यादा देखी गई है।
गठिया जैसी बीमारी सामान्य दर्द से अलग होता है जिसे गाउट बोला जाता है। Arthritis in hindi treatment गठिया सामान्यतः शरीर की छोटी संधियों को प्रभावित करती हैं। और शुरुआत में पैर के अंगूठे में दर्द तथा सूजन हो जाता है।
यदि किसी के जोड़ों में दर्द है तो जरूरी नहीं कि उसे बुखार भी आ जाए, लेकिन गठिया जैसी बीमारी के शुरुआत में दर्द तथा सूजन के साथ बुखार आना तय है।
गठिया रोग होने का मुख्य कारण
गठिया रोग होने का कोई एक मुख्य कारण नहीं है, यह विटामिन डी की कमी के कारण भी हो सकता है। कभी-कभी आपके पैरों में या घुटनों में चोट लग जाती हैं जिसके कारण उनकी कोशिकाओं पर असर पड़ता है और धीरे-धीरे वह चोट गठिया का रूप ले लेती हैं।
हमारे शरीर में शिनबोन हड्डी पाई जाती है जो घुटने की कटोरी को जोड़ने का काम करते हैं यदि उसमें सिर्फ फ्रैक्चर आ जाए तो उससे घटिया बनने का जोखिम बढ़ जाता है।
औरतों में एस्ट्रोजन की लगातार कमी के कारण, आयरन और कैल्शियम की अधिकता, मोटापा बढ़ना, शरीर में पोषण की कमी, हाई बीपी और किडनी का ठीक तरह से काम न करने की वजह से भी गठिया हो जाता है।
गठिया रोग के लक्षण - Gathiya ke lakshan in Hindi
बहुत से ऐसे लोग हैं जिन्हें गठिया रोग के लक्षण के बारे में पता ही नहीं है, जिसके कारण समय रहते उसका इलाज नहीं हो पाता और रोग बड़ा हो जाता है। इसलिए इसके लक्षणों को पहचानना बहुत जरूरी होता है जो इस प्रकार है-
- चलने-फिरने में दिक्कत महसूस होना
- जोड़ों में अकड़न
- सूजन
- जोड़ों में दर्द होना
- जोड़ों से तेज आवाज आने लगे
- उंगलियां या दूसरे हिस्से मूड़ने लगे
- त्वचा पर गर्मी का एहसास
- जोड़ों की त्वचा के ऊपर लाल होना
गठिया को जड़ से खत्म करने का उपाय- Arthritis in hindi treatment
गठिया जो एक बहुत बड़ी समस्या है और आयुर्वेद में यह 80 प्रकार की होती है, शुरुआत में यह हाथ के अंगुलियों के टेढ़े मेढ़े से शुरू होकर घुटने दर्द, पीठ दर्द और बाद में यह पूरा शरीर जकड़ लेता है। arthritis treatment in hindi हम इन्हीं कुछ उपायों पर चर्चा करेंगे जिससे गठिया को जड़ से खत्म करने में मदद मिलेगी।
दिव्य वातारि चूर्ण के फायदे गठिया के रोग में-Arthritis in hindi treatment
आपके शरीर में किसी भी प्रकार का दर्द हो, जोड़ों के दर्द से लेकर मेरुदंड में, रीढ़ की हड्डी के दर्द से लेकर, चाहे गठिया का दर्द हो, उसमें दिव्य वातारि चूर्ण फायदेमंद होता है।
लहसुन के फायदे हैं गठिया के दर्द में
लहसुन के तीन से चार कलियों को रोजाना गर्म पानी के साथ गठिया वाले रोगी को सेवन कराएं। इससे गठिया को जड़ से खत्म करने में हेल्प मिलेगी।
मेथी से गठिया के दर्द में पाए आराम
जोड़ों के दर्द और सूजन को कम करने के लिए एक से दो चम्मच मेथी को रात में सोने से पहले आधा गिलास पानी में भिगोकर छोड़ दें और सुबह उठकर मेथी को छान लें और पानी को पी जाएं और बचे हुए मेथी को चबा चबा कर खा ले, लाभ होगा।
जोड़ों के दर्द को कम करने के लिए प्रतिदिन मेथी को अंकुरित करके खाने से लाभ होता है।
अजवाइन के फायदे हैं गठिया के दर्द में
एक छोटा चम्मच का अजवाइन और आधा टुकड़ा अदरक को एक गिलास पानी में डालकर उबाल लें, और उसे सुबह और शाम दो टाइम पिए। इस काढ़े को पीने से पसीना निकलता है जिसके सहारे यूरिक एसिड बाहर निकालने ने हेल्प मिल जाती है।
अदरक
गठिया के दर्द और सूजन को कम करने के लिए अदरक एक बेहतर उपाय हो सकता है। अदरक हमारे शरीर के अंदर मौजूद प्रोस्टाग्लैंडीन के स्तर को कम करता है। और घठिया की समस्या से निजात दिलाने में हेल्प करता है।
बिच्छू वटी के फायदे गठिया के रोग में
बिच्छू काटे का नाम सुनने में आपको शायद थोड़ा अजीब सा लगे, लेकिन आपको याद दिला दें कि जिस प्रकार बिच्छू के काटने पर शरीर में तेजी से फैल जाता है ठीक उसी प्रकार बिच्छू वटी का सेवन करते हैं तो आपके गठिया का दर्द उतनी ही तेजी से कम होता है।
राजमेरी
गठिया के इलाज में ज्यादातर राजमेरी आयुर्वेदिक दवा का उपयोग किया जाता है। राजमेरी आयुर्वेदिक दवा का इस्तेमाल करके गठिया के दर्द से छुटकारा पा सकते हैं यह गठिया के इलाज के लिए फायदेमंद साबित हो सकती है।
इस्तेमाल करने के लिए एक कप पानी के साथ थोड़ी मात्रा में राजमेरी की कुछ पत्तियों डालकर लगभग 10 मिनट तक छोड़ दें। और फिर उस पानी को चाय की तरह दिन में 1-2 बार सेवन करें, गठिया के दर्द में आराम होगा।
बथुआ
बथुआ को एक खाने वाली शाग की तरह इस्तेमाल किया जाता है। बथुआ के ताजे पत्तियों की सहायता से आप गठिया के दर्द से छुटकारा पा सकते हैं।
सरसों का तेल
सरसों के तेल से गठिया को जड़ से खत्म करने का उपाय
सरसों के तेल में कुछ ऐसे पोषक तत्व पाए जाते हैं जिनकी मदद से दर्द को कम किया जा सकता है। इसके लिए सबसे पहले सरसों के तेल को हल्का गर्म कर ले, और घटिया वाले स्थान पर धीरे-धीरे मालिश करें। यदि दर्द के साथ थोड़ा बहुत सूजन भी है तो सरसों के तेल के बराबर प्याज का रस निकाल कर मिला ले, और फिर सूजन वाले स्थान पर मालिश करें।
